Saturday, September 27, 2025

मातृभूमि की पुकार अभियान के अंतर्गत लखनऊ में विश्व बंधुत्व दिवस समारोह


मातृभूमि की पुकार
विश्व बंधुत्व दिवस कार्यक्रम वृत्त

27 सितंबर 2025, शनिवार
स्थान: मालवीय सभागारलखनऊ विश्वविद्यालय

चरण
पंजीयन
2.विश्व बंधुत्व दिवस कार्यक्रम
3.प्रतियोगिता
व्यक्तित्व विकास एवं नेतृत्व कौशल कार्यशाला
5.आवासीय शिविर

Lucknow@vkendra.org
Vivekananda Kendra Kanyakumari UP
www.vkendra.org , up.vkendra.org

विवेकानन्द केन्द्र कन्याकुमारी उत्तर प्रदेश प्रान्त और अंतरराष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थानअयोध्या के द्वारा मातृभूमि की पुकार अभियान के अन्तर्गत "विश्व बंधुत्व दिवस" कार्यक्रम मनाया गया। कार्यक्रम में मुख्य वक्ता श्री बड़ी काली जी मठ के महंत स्वामी विवेकानन्द गिटी जी थे। कार्यक्रम में नुक्कड नाटकशिकागो भाषणपारितोषिक वितरणमातृभूमि की पुकार अभियान का शुभारंभव्याख्यान आयोजित किए गए थे। कार्यक्रम में साहित्य स्टॉल भी लगाया गया।

नुक्कड नाटक
विषय - नशा मुक्ति से विश्व बंधुत्व नुक्कड नाटक की प्रस्तुति प्राण संस्था की ओर से गयी ।

"प्राण"
निष्ठा धृतिः सत्यम्
Student run Socio-cultural society of University Of Lucknow.

विवेकानन्द केन्द्र उत्तर प्रदेश प्रान्त की प्रान्त प्रशिक्षण प्रमुख प्रोफेसर विनोद सोलंकी ने कार्यक्रम के मुख्य वक्ता स्वामी विवेकानन्द गिरी जी का स्वागत शालस्वामी विवेकानन्द का चित्र तथा कथा शीला स्मारक की पुस्तक देकर किया |

लखनऊ विश्वविद्यालय में मातृभूमि की पुकार प्रतियोगिता के अंतर्गत शिकागो भाषण स्पर्धा आयोजित की गयी थी कार्यक्रम में शिकागो भाषण स्पर्धा के pratham prathan, द्वितीय और तृतीय विजेता को पुरस्कृत किया गया तथा प्रथम विजेता ने शिकागो भाषण की प्रस्तुति की |

शुभारंभ
मातृभूमि की पुकार अभियान का विधिवत शुभारंभ विवेकानन्द केन्द्र के कार्यकर्ता गण तथा विश्वविद्यालय के कार्यक्रम में उपस्थित प्राध्यापक गण ने किया |

मुख्य वक्ता उद्बोधन बिदु
*धर्म का अर्थ है धारण करना |
*भारत की महान संस्कृति 'यूनिवर्सल एक्सेप्टेंसपर आधारित है और यह समस्त मानवता को एक परिवार मानती है।
*धर्मऔर 'रिलिजनमें मुख्य अंतर यही है कि धर्म समस्त समाज के कल्याण का मार्ग दिखाता है तथा रिलिजन मात्र मान्यताओं व उपासना पद्धतियों तक सीमित रहता है।

आशीर्वचन प्रोफेसर विनोद सोलंकी दीदी
एकतामैत्रीसहयोग और सहानुभूति से ही व्यक्ति एवं समाज का विकास संभव है. |
स्वामी विवेकानंद ने "Truth is one, the wise call it by many names" कहकर सभी धर्मों में एकताप्रेम और समर्पण का संदेश दिया था.

मातृभूमि की पुकार वृत्त

युवा संपर्क.    2000 से अधिक
पंजीयन.        500 युवा
युवा टोली.     25 युवा
बैठक 05.     106 उपस्थिति
कार्यक्रम 01  520 उपस्थिति

लखनऊ विश्वविद्यालय में युवाओं ने लिया स्वामी विवेकानंद के विचारों से प्रेरणा

मुख्य वक्ता श्री बड़ी काली जी मठ के महंत स्वामी विवेकानन्द गिरी जी ने युवा प्रतिभागियों को धर्मएकता और मानवता के संदेश से अवगत कराया। उन्होंने बताया कि भारत की संस्कृति ‘Universal Acceptance’ पर आधारित है और समस्त मानवता को एक परिवार मानती है। वहीं प्रोफेसर विनोद सोलंकी ने युवाओं को सहयोगसहानुभूति और नेतृत्व कौशल के महत्व पर मार्गदर्शन दिया।

कार्यक्रम में प्राण संस्था द्वारा नशा मुक्ति से विश्व बंधुत्व विषय पर नुक्कड़ नाटक प्रस्तुत किया गया। शिकागो भाषण प्रतियोगिता में प्रथमद्वितीय और तृतीय विजेताओं को पुरस्कार प्रदान किए गए। प्रथम विजेता ने अपनी भाषण प्रस्तुति से सभी का ध्यान आकर्षित किया।

कार्यक्रम के शुभारंभ के दौरान विवेकानन्द केन्द्र के कार्यकर्ताओं एवं विश्वविद्यालय के प्राध्यापकों ने मातृभूमि की पुकार अभियान का विधिवत आरंभ किया।

इस कार्यक्रम में 500 से अधिक पंजीकृत युवा और 520 प्रतिभागी उपस्थित रहे। युवा टोली और अन्य गतिविधियों के माध्यम से उन्हें नेतृत्वटीम बिल्डिंग और व्यक्तित्व विकास के लिए प्रेरित किया गया।

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