विवेकानंद संदेश यात्रा का राजस्थान में आयोजन से स्वामी विवेकानंद के संदेश को शाश्वत बनाने का कार्य हुआ है और यह कार्य राजस्थान प्रांत की टीम ने मिलकर के किया है, इसे और आगे बढ़ाने की आवश्यकता है जिससे कि राजस्थान के प्रत्येक जिले में केंद्र की शाखाएं खड़ी हो तथा कार्य पद्धति के सभी आयामों को विकसित किए जाने की आवश्यकता है। यह कार्य एक व्यक्ति का नहीं है अपितु इसमें प्रत्येक कार्यकर्ता को अपनी सामर्थ्य से बढ़कर करना होगा क्योंकि यह ईश्वरीय कार्य है। उक्त विचार विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी की राष्ट्रीय अध्यक्ष माननीय श्री ए बालाकृष्णन ने विवेकानंद संदेश यात्रा राजस्थान की स्मारिका विवेक चेतना के विमोचन के अवसर पर व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि इस स्मारिका में न केवल सजीव चित्रों का संकलन है अपितु यह स्मारिका जिस संदेश को देना चाहती है उसका भी समावेश यथोचित स्थान पर किया गया है इसमें प्रकाशित आलेख भी पठनीय है एवं प्रेरणादायी है।
इस अवसर पर विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी के राष्ट्रीय महासचिव श्री डी भानुदास तथा विवेकानंद केंद्र राजस्थान प्रांत के प्रमुख श्री भगवान सिंह भी उपस्थित थे। स्मारिका का संपादन साहित्य सेवा प्रमुख श्री उमेश कुमार चौरसिया ने किया है तथा इसके संयोजन में विवेकानंद संदेश यात्रा के संयोजक डॉ स्वतंत्र शर्मा ने सहयोग प्रदान किया है। कार्यक्रम का आयोजन महेश्वरी सदन आजाद नगर भीलवाड़ा में हुआ। इस अवसर पर विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी राजस्थान प्रांत के समस्त विभागों के कार्यकर्ता उपस्थित थे।
इस अवसर पर विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी के राष्ट्रीय महासचिव श्री डी भानुदास तथा विवेकानंद केंद्र राजस्थान प्रांत के प्रमुख श्री भगवान सिंह भी उपस्थित थे। स्मारिका का संपादन साहित्य सेवा प्रमुख श्री उमेश कुमार चौरसिया ने किया है तथा इसके संयोजन में विवेकानंद संदेश यात्रा के संयोजक डॉ स्वतंत्र शर्मा ने सहयोग प्रदान किया है। कार्यक्रम का आयोजन महेश्वरी सदन आजाद नगर भीलवाड़ा में हुआ। इस अवसर पर विवेकानंद केंद्र कन्याकुमारी राजस्थान प्रांत के समस्त विभागों के कार्यकर्ता उपस्थित थे।
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